Chai Shayari
कभी चाय के आगोश में
आकर देखना...!!
शराब भी शरीफ नजर
आएगी।।१।।
तेरा नशा , तेरा कड़कपन
वो तेरी मिठास , वो तेरी गर्माहट
पहले घूंट की चुस्कियों से आखरी घूंट की
चुस्कियों तक कत्ल का सामान हो तुम।
चाय शायरी
हर रोज नहा लेता हूं
चाय की बारिश में
पर कमबख्त चाय के इश्क़
का रंग छूटता ही नहीं।
डॉक्टर थे हम भी
कमबख्त चाय के इश्क़
ने उसके दीदार का मरीज बना दिया।
Chai Shayari in Hindi
उनके दिल में चाय के
लिए इतनी मोहब्बत
देखकर हम तो खुद को
चाय समझ बैठे।
चाय शायरी
वो टपरी की चाय भी
क्या चाय
जिसमे जायका दोस्ती का
ना हो।
चाय के कुल्हड़ को लबों
से छूकर यु बहकाया ना करो
यु टपरी पर साथ आकर
तलब-ए-इश्क़ को और
बढ़ाया ना करो।
Chai Shayari
मेरे इस दिल को सुकून
आ गया तुम तो ना
आई पर ये चाय जरूर साथ आ गई।
जरा जरा जल जाने को
हाजिर हूँ ,
बस शर्त यह हैं की
वो आग चाय की हों।
Chai Pe Shayari
चाय की तलब हो तो
नज़र चाय पर ही जमा कर रखना
इसका एक घूंट भी बहोत सुकून देता हैं।
तुमको मेरे होंठो के बेहद
करीब से गुजरना होगा
सुनो तुम्हे मेरी चाय
जैसा बनना होगा।
Chai Shayari
बेशुमार मोहब्बत होगी
उस बिस्किट को भी चाय से ,
वरना ऐसे ही थोड़ी कोई डूबकर
टूट जाता हैं चाय में।
Chai Pe Shayari
नशे की बात चली जब महफ़िल में
चाय के चर्चे बहुत हुए।
प्यास हर किसी को लगती हैं चाहे
रिश्ते हो या पौधे बस फर्क इतना हैं की
पोधो की प्यास पानी से और रिस्तो की प्यास
चाय से बुझती हैं।
Chai Shayari
अब तो चाय की तलब के तलबगार हो गए हैं
अब ये मोहब्बत हैं या पागलपन पता नहीं।
मेरे कपडे पर कुछ यू
गिरी तेरे हाथो चाय की मेरी सफ़ेद
सी कमीज रंगीन हो गई।
Chai Shayari
कुल्हड़ ने चाय से कहाँ -
इस कुल्हड़ में समाकर देख एक बार तू
किसी कांच के गिलास में महकती
इतनी तू जितना इस देसी कुल्हड़ में महकती हैं।
चाय के इश्क़ में मैंने
कुल्हड़ को भट्टी में जलते देखा हैं।
Chai Pe Shayari
नशा कर लो पर मोहब्बत का नहीं चाय का।
तलब की तल्बगारी को
तलब ना कहिये ,
जनाब मेरी चाय पहले से ही
तलबगार हैं उसे और
तलब ना कहिये।
वो नींद भी बड़ी गजब
की आती हैं ,
जिस रात मुझे चाय
मिल जाती हैं।
Chai Shayari
तलब तो हमे चाय की लगी हैं
खामखा शराब बदनाम हैं।
सुनो ,
अदरक तो डालो तुम
चाय रंगत बदलेगी ,
खामोश जो उबल रही हैं
जज्बात वह उकलेगी।
Chai Quotes
इश्क़ चाय से करेंगे दारू को
चूहेंगे तक नहीं
रूह में उतर जायेंगे जिस्म को
देखेंगे तक नहीं
वो मेरे लिए चाय की तरह
मायने रखती हैं
जरूरी भी हैं मीठी भी हैं
और सुकून भी हैं
Chai Quotes in Hindi
और की तरह में नहीं बनाता चाय
बस याद आती हैं जाती हैं चाय।
काश मैं कुल्हड़ होता और
तुम मुझे अपने दोनों होठो
के दरमियान समा लेती।
ए मेरी चाय की तलब ना जाने
क्यों ना चाहते हुए भी कभी में
तेरे होठो से तो कभी तू मेरे होठो
पर चली आती हैं तू हर एक
चुस्की के साथ मेरी ज़िंदगी के
हर एक पल को खुशनुमा की जिद्दी
वफ़ा तू क्यों बार बार मेरे होठो
पर चली आती हैं।
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